
केदारनाथ के लिए 13 किमी लंबे रोपवे निर्माण की जिम्मेदारी केंद्र सरकार के सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय के अधीन नेशनल हाईवे लॉजिस्टिक मैनेजमेंट लिमिटेड (एनएचएलएमएल) ने एक कंपनी को सौंपी है। कार्यदायी संस्था के वन भूमि सलाहकार के साथ प्रशासन और वन विभाग ने रोपवे निर्माण के लिए संयुक्त भूमि सर्वेक्षण पूरा कर दिया है।
केदारनाथ यात्रा को सुलभ व सरल बनाने की कवायद शुरू हो गई है। उत्तराखंड में सबसे लंबे रोपवे सोनप्रयाग-केदारनाथ के निर्माण के लिए प्रारंभिक सर्वेक्षण पूरा हो चुका है। कार्यदायी संस्था द्वारा रोपवे निर्माण के लिए केंद्र सरकार को 945 करोड़ की डीपीआर भेजी जा रही है।
केदारनाथ के लिए 13 किमी लंबे रोपवे निर्माण की जिम्मेदारी केंद्र सरकार के सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय के अधीन नेशनल हाईवे लॉजिस्टिक मैनेजमेंट लिमिटेड (एनएचएलएमएल) ने एक कंपनी को सौंपी है। कार्यदायी संस्था के वन भूमि सलाहकार के साथ प्रशासन और वन विभाग ने रोपवे निर्माण के लिए संयुक्त भूमि सर्वेक्षण पूरा कर दिया है।
रोपवे निर्माण के लिए सोनप्रयाग से केदारनाथ तक 11 हेक्टेयर भूमि अधिगृहित की गई है। 22 टॉवर के सहारे बनने वाले रोपवे के डिजायन का लेआउट भी कार्यदायी संस्था ने तैयार कर दिया है। रेंजर पंकज ध्यानी ने बताया मंगलवार से केदारनाथ वन जीव प्रभाग के ऊखीमठ रेंज ने सोनप्रयाग-केदारनाथ रोपवे निर्माण के लिए अधिगृहित की गई भूमि में पेड़ों की गिनती शुरू कर दी है।