देश के सात प्रमुख शहरों में इस साल रिकॉर्ड 3.6 लाख मकान बिक सकते हैं। होम लोन पर ब्याज दरें बढ़ने और संपत्ति की कीमतों में कम-से-कम 10 फीसदी वृद्धि के बावजूद मकानों की मांग मजबूत बनी हुई है। इससे पहले सात प्रमुख शहरों दिल्ली-एनसीआर, मुंबई महानगर क्षेत्र, चेन्नई, कोलकाता, बंगलूरू, हैदराबाद और पुणे में 2014 में सबसे ज्यादा 3,42,980 मकानों की बिक्री हुई थी।
संपत्ति सलाहकार एनारॉक के मुताबिक, चालू कैलेंडर वर्ष (2022) के दौरान जनवरी से सितंबर के बीच कुल 2,72,710 मकान बिके। यह आंकड़ा कोविड पूर्व स्तर यानी 2019 से ज्यादा है। उस दौरान देश के सात प्रमुख शहरों में कुल 2,61,360 मकान बिके थे।
- एनारॉक समूह के चेयरमैन अनुज पुरी ने कहा, होम लोन पर ब्याज दर 6.5% से बढ़कर करीब 8.5% पहुंच जाने पर भी त्योहारों के दौरान मकानों की मांग मजबूत बनी रही है। देश में आवास बाजार के इतिहास में 2022 ऐसे साल के रूप में दर्ज होगा, जिसने पहले के सभी रिकॉर्ड तोड़ दिए।
- कोविड में अपना घर होने की जो भावना पैदा हुई थी, वह दरों में बढ़ोतरी, संपत्ति की कीमतों में वृद्धि व त्योहारी छूट या विशेष पेशकश के अभाव के बावजूद बनी हुई है।
आंकड़ों के मुताबिक, बिक्री के मौजूदा स्तर को देखते हुए इस साल 3.4 लाख से ज्यादा नए मकान लॉन्च हो सकते हैं। हालांकि, यह 2014 के 5,45,230 के मुकाबले कम ही रहेगा।
- इस साल के पहले 9 महीने में सात प्रमुख शहरों में कुल 2,64,780 नए मकान लॉन्च हुए हैं।
- पिछले 18 महीनों में सभी प्रमुख लिस्टेड डेवलपर्स की बिक्री में बेहतर उछाल दर्ज की गई है।
- कोरोना महामारी की वजह से 2020 में मकानों की बिक्री काफी सुस्त हो गई थी। हालांकि, पाबंदियां हटने के बाद 2021 में सुधार देखने को मिला था।