उत्तराखंड

Uniform Civil Code में गेमचेंजर साबित होगी जन भागीदारी, 

उत्तराखंड में समान नागरिक संहिता (यूसीसी) को लेकर रायशुमारी का सरकार का कदम गेमचेंजर साबित हो सकता है। सुझाव देने में जनता की बढ़चढ़कर भागीदारी से विशेषज्ञ समिति का उत्साह बढ़ा दिया है।

समिति को बंपर सुझाव मिले हैं। इनमें लिखित रूप से प्राप्त सुझावों की संख्या 3.50 लाख से अधिक है। आनलाइन, ई-मेल और डाक से भेजे गए सुझावों को सम्मिलित करने पर यह आंकड़ा 4.50 लाख को पार कर चुका है। समिति अब धार्मिक एवं सामुदायिक संस्थाओं के प्रतिनिधियों के साथ बैठकें कर रही है।

विशेषज्ञ समिति को छह महीने के भीतर यूसीसी पर अपनी रिपोर्ट मुख्यमंत्री को सौंपनी है। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने यूसीसी का ड्राफ्ट तैयार करने को बीती 27 मार्च को सुप्रीम कोर्ट की न्यायाधीश (सेवानिवृत्त) रंजना प्रकाश देसाई की अध्यक्षता में पांच सदस्यीय विशेषज्ञ समिति का गठन किया।

समिति के सदस्यों में न्यायाधीश (सेवानिवृत्त) प्रदीप कोहली, सेवानिवृत्त आइएएस शत्रुघ्न सिंह, दून विश्वविद्यालय की कुलपति सुरेखा डंगवाल एवं सामाजिक कार्यकत्र्ता मनु गौर सम्मिलित हैं। यूसीसी पर सुझाव आमंत्रित करने के लिए समिति ने बीती आठ सितंबर को वेबसाइट लांच की थी।

समान नागरिक संहिता को लेकर समिति को अब तक बड़ी संख्या में सुझाव मिल हैं। साढ़े तीन लाख से अधिक सुझाव तो समिति के कार्यालय को उपलब्ध कराए जा चुके हैं। 60 हजार सुझाव आनलाइन माध्यमों से मिले हैं। ई-मेल से 22 हजार सुझाव प्राप्त हुए हैं।

डाक से प्राप्त सुझावों की संख्या 30 हजार है। इसके अतिरिक्त समिति ने अब विभिन्न सामुदायिक संस्थाओं, संगठनों, धार्मिक समुदायों और संस्थाओं से भी संपर्क साधना प्रारंभ किया है।

अभी तक ऊधमसिंहनगर जिले में नानकमत्ता गुरुद्वारों में सिख प्रतिनिधियों और हरिद्वार में अखाड़ा परिषद के संतों से संपर्क साधा जा चुका है। उत्तराखंड में यह जिम्मा समिति के सदस्य शत्रुघ्न सिंह, सुरेखा डंगवाल और मनु गौर संभाल रहे हैं। समिति अन्य धर्म गुरुओं व समुदायों से भी भेंटकर उनका परामर्श प्राप्त कर रही है। भेंट का यह क्रम लगातार जारी है।

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