नैनीताल हाईकोर्ट ने वन दरोगा भर्ती मामले में सुनवाई के बाद 316 पदों में से 105 पदों को सीधी भर्ती और 211 को पदोन्नति से भरने के आदेश राज्य सरकार को दिए हैं। कोर्ट के इस आदेश के बाद वन आरक्षियों के वन दरोगा बनने और सीधी भर्ती से नियुक्ति का रास्ता साफ हो गया।
मुख्य न्यायाधीश विपिन सांघी एवं न्यायमूर्ति राकेश थपलियाल की खंडपीठ के समक्ष मामले की सुनवाई हुई। वन आरक्षी / वन बीट अधिकारी संघ के अध्यक्ष हर्षवर्धन ने हाईकोर्ट में याचिका दायर कर कहा था कि सरकार वन दरोगा के 316 रिक्त पदों को सीधी भर्ती के माध्यम से भर देना चाहती है।
इससे वन आरक्षियों की पदोन्नति का अवसर खत्म हो जाएगा। याचिकाकर्ता का कहना था कि पूर्व में वन दरोगा के पद 100 प्रतिशत पदोन्नति से भरे जाते थे। सरकार ने वर्ष 2018 मे नियमावली में संशोधन कर इस पद को सीधी भर्ती से भरने का निर्णय लिया।
इससे पहले से काम कर रहे कर्मचारियों के अधिकारों का हनन होने लगा। याचिका में कोर्ट से प्रार्थना की गई कि इस भर्ती प्रक्रिया में पूर्व से कार्य कर रहे कर्मचारियों को भी वन दरोगा भर्ती प्रक्रिया में प्रतिभाग करने का अवसर दिया जाए।